Fri. Mar 29th, 2024

राज्यपाल अनुसुईया उइके ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 174 के खण्ड (1) द्वारा प्रदत्त शक्तियों का इस्तेमाल करते हुये 1 दिसंबर 2022 को सुबह 11ः00 बजे छत्तीसगढ़ विधानसभा का 15वां सत्र आहूत करने के विधानसभा से मिले प्रस्ताव प

छत्तीसगढ़ के आदिवासी आरक्षण पर हो रहे विवाद पर लगाम लगाने के लिए सरकार अब विधानसभा सत्र का सहारा लेगा भूपेश बघेल के प्रस्ताव पर मुहर लग चुकी है प्रदेश की राज्यपाल अनुसुईया उइके ने भारत के संविधान के अनुच्छेद द्वारा प्रदत्त शक्तियों का इस्तेमाल करते हुये 1 दिसंबर 2022 को सुबह 10 बजे छत्तीसगढ़ विधानसभा का 15वां सत्र आहूत करने के विधानसभा से मिले प्रस्ताव पर अपने हस्ताक्षर कर दिए गया हैं। आरक्षण के मुदे पर आहूत छत्तीसगढ़ विधानसभा का यह विशेष सत्र 1 और 2 दिसंबर 2022 को आहूत किया जाएगा। इससे पूर्व छत्तीसगढ़ में आदिवासी आरक्षण को लेकर गर्म माहौल के बीच राज्य के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आदिवासी आरक्षण के मुद्दे को लेकर विधानसभा का विशेष सत्र आहूत करने का प्रस्ताव विधानसभा अध्यक्ष डॉ. चरणदास महंत को भेजा था । मुख्यमंत्री ने आगामी 1 वा 2 दिसंबर को विधानसभा का विशेष सत्र आहूत किए जाने का आग्रह किया है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आदिवासी समाज को भरोसा दिलाया है कि राज्य में आरक्षण के मामले में आदिवासी निश्चिंत रहें, उन्हें लगभग 30 प्रतिशत आरक्षण का लाभ दिलाने के लिए हम हर संभव प्रयास कर रहे है। तमिलनाडु और कर्नाटक में आरक्षण की विधिक स्थिति का अध्ययन करने के लिए छत्तीसगढ़ शासन की ओर से वरिष्ठ अधिकारियों एवं सामाजिक कार्यकर्ताओं का दल शीघ्र वहां जाएगा। अध्ययन दल के गठन एवं इस संबंध में आवश्यक दिशा-निर्देश को लेकर सामान्य प्रशासन विभाग मंत्रालय द्वारा आदेश भी जारी कर दिया गया है।

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